प्रसिद्ध भजन गायिका आकृति मिश्रा के विरुद्ध मुकदमा दर्ज करवाने की मांग को लेकर दिया ज्ञापन,
लाडनूं में मेघवाल समाज ने किया प्रदर्शन, मिश्रा के गायन में अभद्र शब्दों के प्रयोग को बताया सख्त आपत्तिजनक व अपमानजनक
लाडनूं (kalamkala.in)। प्रसिद्ध भजन गायिका आकृति मिश्रा द्वारा अपने भजन में एक आपत्तिजनक वाक्यांश को जोड़ कर गाने और उसे प्रचारित-प्रसारित करने पर क्षेत्र के मेघवाल समाज ने सख्त ऐतराज जताते हुए एक ज्ञापन यहां उपखंड अधिकारी मिथलेश कुमार को सौंपा है और इसके लिए उनके खिलाफ पुलिस में मुकदमा दर्ज करके विभिन्न अधिनियमों व धाराओं के तहत कार्रवाई करने की मांग की गई है। यह ज्ञापन प्रधानमंत्री, अनुसूचित जाति आयोग भारत सरकार के राष्ट्रीय अध्यक्ष, मुख्यमंत्री राजस्थान और अनुसूचित जाति आयोग राजस्थान के अध्यक्ष के नाम से सम्बोधित किया गया है। ज्ञापन में बताया गया है कि गायक कलाकार आकृति मिश्रा ने अपने भजन के माध्यम से अनुसूचित जाति वर्ग के मेघवाल समाज को गलत रूप से उद्धृत व सम्बोधित करते हुए उनके लिए गाली व जातिसूकचक अपशब्दों का प्रयोग किया है, जिसमें मेघवाल समाज को नीचा दिखाने की करतूत की गई है।
मेघवाल समाज भवन पर हुए एकत्रित और पहुंचे एसडीएम आफिस
क्षेत्र के मेघवाल समाज के लोगों ने लाडनूं के मेघवाल समाज भवन में एकत्रित होकर वहां से तहसील पहुंचे और वहां नारेबाजी-प्रदर्शन करते हुए एसडीएम को ज्ञापन दिया। भजन गायिका आकृति मिश्रा ने अपने एक भजन गायन में आपत्तिजनक भाषा का इस्तेमाल किया और उस जातिगत अपमानजनक गीत के वीडियो को अपनी सोशल मीडिया की सभी आईडी पर अपलोड किया। इस भजन के वीडियो को देखकर समाज के लोगों को गहरा आघात पहुंचा और वे इससे बहुत दु:खी हुए। गायिका आकृति मिश्रा ने अपनी सोशल आई.डी. फेसबुक, इंस्टाग्राम, यूट्यूब पर अपने इस भजन के वीडियो से अनुसूचित समाज की मेघवाल जाति को गाली दी है। जबकि इस भजन के मूल स्वरूप में इस तरह की कोई कड़ी नहीं है। उन्होंने इसे अपनी तरफ से जोड़कर एक लिरिक्स गायी है। उनका यह कृत्य अनुसूचित जाति अधिनियम 1989 में अपराध हैं। हालांकि आकृति मिश्रा का 31 अक्टूबर को एक माफीनामा का वीडियो भी सामने आया है, जिसमें उसने माफी मांगी है, लेकिन उन्होंने केवल मात्र मेघवाल समाज को टारगेट करके यह गाली दी है। उन्होंने सभी सोशल मीडिया से इस वीडियो को हटवाया भी नहीं है। इससे अनेक जातिवादी मानसिकता के लोग आएदिन इस तरह के वीडियो का प्रयोग रील बना कर सोशल मिडिया पर अपलोड करके मेघवाल समाज को बदनाम करने में जुटे हैं। इससे माहौल खराब हो रहा है तथा समाज में गहरा रोष व आक्रोश है।
कानूनी कार्रवाई की मांग और पुलिस को भी सौंपी रिपोर्ट
ज्ञापन में आकृति मिश्रा सहित अन्य सभी के विरुद्ध भी सख्त कानूनी कार्यवाही को जरूरी बताया गया है तथा बताया गया है कि आकृति मिश्रा द्वारा प्रसारित आपतिजनक, जाति विशेष को गाली निकालकर और गाने की लिरिक्स/कड़ी के प्रसारित होने से सम्पूर्ण राजस्थान में जातीय माहौल बिगड़ा है और मेघवाल समाज की छवि खराब हुई है। इस ज्ञापन के मार्फ़त गायिका आकृति मिश्रा के खिलाफ आई. टी. एक्ट. एवं सामाजिक सद्भावना बिगाड़ने ठेस पंहुचाने के लिए बीएनएस एक्ट एवं सोशल साईट पर वीडियो अपलोड कर गाली निकालने की धारा एवं एस.सी. एक्ट की धारा लगाकर कानूनी कार्रवाई करने की मांग की गई है। इस सम्बन्ध में आकृति मिश्रा पर कानूनी कार्यवाही के लिये चार लोगों ने पुलिस थाना लाडनूं में रिपार्ट भी दी है। यह रिपोर्ट देने वालों में महेंन्द्र मेघवाल गोरेड़ी, जगदीश मेघवाल सुनारी, किशनलाल मेघवाल मंगलपुरा व हनुमान राम मेघवाल सुनारी शामिल हैं।
इन सबने दिया ज्ञापन
ज्ञापन देने वालों में अंबेडकर दलित अधिकार मंच के अध्यक्ष एडवोकेट हरीश मेहरडा, पूर्व सचिव डॉ. बंशीधर मेघवाल, ओम प्रकाश मेघवाल मंगलपुरा, ज्ञानाराम मेहरा सुनारी, महेंद्र गोरेड़ी, ज्ञानप्रकाश भाटी बालसमंद, जगदीश मेघवाल, हनुमान मेघवाल, गोविंद मेघवाल, भागीरथ मेघवाल, लालचंद मेघवाल, प्रेमाराम मेघवाल, किशन मेघवाल, हुल्लासचंद मेघवाल, किशन मेघवाल, मनीराम मेहरड़ा, श्रवण मेघवाल, ओम प्रकाश, किशन लाल मेघवाल, श्यामलाल भाटी, भानु प्रकाश बाकलिया, पूर्णाराम मेघवाल, गणपत मेघवाल, कन्हैयालाल मेघवाल, रामूराम मेघवाल, भंवरलाल मेघवाल, हंसराज मेघवाल, गजेंद्र मेघवाल, हनुमान राम मेघवाल आदि लोग शामिल रहे।