लाडनूं में करोड़ों की कृषि भूमियां बिना भू-रूपांतरण, बिना पंजीयन और बिना निर्माण अनुज्ञा के दिन-रात हो रही तब्दील,
बेधड़क चल रही इन अवैध कार्रगुजारियों पर कब और कौन लेगा एक्शन?
लाडनूं (kalamkala.in)। लम्बे समय से यहां भूमाफिया लोग बेधड़क कृषि जमीनों को खरीद कर या इकरारनामों पर लेकर अवैध रूप से उन पर प्लॉट काट कर उन्हें बेचकर लोगों बसाने और उन पर अवैध रूप से इमारतों का निर्माण करवाने के काम में लगे रहे हैं। जिला कलेक्टर ने इस पर काफी सख्ती बरती है और मुख्य रूप से नगर पालिका लाडनूं को इसके लिए पाबंद किया है कि वह इन अवैध कार्रगुजारियों पर पुख्ता रोक लगाए, परन्तु अब तक नगर पालिका सुस्त ही नहीं आंखें मूंद कर बैठी रही थी। कुछ जागरूक लोगों की शिकायतों के बावजूद भी उस ओर कोई ध्यान नहीं दिया जा रहा था। शहर के आसपास की ऐसी बेशकीमती खेती की जमीनों को बिना भू-रूपांतरण करवाए और सब रजिस्ट्रार के यहां बिना पंजीयन करवाए बेचान और नगर पालिका से किसी भी प्रकार की निर्माण अनुज्ञा प्राप्त किए बिना धड़ल्ले से विकसित होती अवैध कालोनियों से सरकार और नगर पालिका को करोड़ों की राजस्व हानि पहुंचाई जा रही थी।
डीडवाना रोड पर ईओ ने मौका देखा, पर अभी बहुत विस्तृत क्षेत्र है बाकी
अब नगर पालिका के कार्यवाहक अधिशाषी अधिकारी झाबर सिंह ने इस ओर ध्यान दिया है। ईओ ने डीडवाना रोड पर काटी जा रही अवैध कालोनी का मौका देखा और भूमि के खातेदार को ईओ ने मौके पर ही पाबंद किया है। उन्होंने कृषि भूमि को बिना कन्वर्ट करवाए बेचे जाने पर कार्रवाई की चेतावनी दी है। गौरतलब है कि लाडनूं में डीडवाना रोड ही नहीं, बल्कि सुजानगढ़ रोड, खानपुर रोड, विश्वनाथपुरा रोड, मगरा बास, सुनारी रोड, गोपालपुरा रोड, छिपोलाई की तरफ, दुजार रोड, डाबड़ी रोड, जैन विश्व भारती के ईर्द-गिर्द का इलाका आदि बहुत सारे क्षेत्रों में धड़ल्ले से खेती की जमीनों को खुर्द-बुर्द करने का काम भूमाफिया करने में जुटे हैं। करोड़ों की जमीन अब तक बेनामी तरीकों से हथिया ली गई और प्लॉट काटे जाकर उन पर आवासीय, व्यावसायिक और औद्योगिक निर्माण कर दिए गए और किए जा रहे हैं।
ईओ ने मौका देखकर किया प्रेस नोट जारी और दी चेतावनी
नगर पालिका ने ईओ द्वारा की गई निरीक्षण कार्रवाई के लिए एक प्रेस नोट जारी किया है, जो इस प्रकार से है-
नगरपालिका लाडनूं क्षेत्र एवं पेराफेरी क्षेत्र में कृषि भूमि पर अवैध रूप से आवासीय कॉलोनीयां काटकर जरिथे विक्रेय विलेख/ इकरारनामा से विक्रय किये जा रहे हैं। पालिका क्षेत्र के गोपालपुरा रोड़ पर व लाडनूं से डीडवाना रोड़ पर स्थित अवैध कॉलोनियों का अधिशाषी अधिकारी झबर सिंह द्वारा मौका देखा गया। उनके द्वारा सम्बंधित खातेदारों/विक्रेता को बिना भू-रूपान्तरण कृषि भूमि पर आवासीय भूखण्डों के रूप में विक्रय नहीं करने हेतु पाबंद किया गया। साथ ही नियमानुसार पालिका से भू-रूपान्तरण करवाने हेतु निर्देशित किया गया। उक्त अवैध कॉलोनियों में किसी भी प्रकार की क्रय-विक्रय किए जाने पर नियमानुसार कार्यवाही प्रस्तावित कर दी जावेगी, जिसकी समस्त जिम्मेदारी सम्बंधित की होगी।
क्यों नहीं हो रही ये जमीनें राजहक में
राजस्व विभाग भी अपनी भूमिका भली-भांति नहीं निभा रहा है। कृषि भूमि पर भूखंड बनाए जाने की जानकारी मिलते ही उसे राज हित की जमीन घोषित करने की कार्रवाई पटवारी व तहसीलदार को करनी चाहिए, लेकिन इन जमीनों को राजस्व विभाग भी अनदेखा कर रहा है। काफी मामले उपखंड न्यायालय में प्रस्तुत भी किए गए, लेकिन ऐसे मामलों में जमीनें राजहक में किए जाने की कोई कार्रवाई बरसों से अब तक नजर नहीं आई। शायद फाईलें लालफीताशाही की शिकार होकर रह जाती है। रेलवे ओवरब्रिज के ईर्द-गिर्द और हाईवे के आसपास ऐसी काफी जमीनों पर अवैध निर्माण और अवैध कन्वर्शन किए गए, जिनके लिए राजस्व विभाग लाडनूं ने नोटिस भी दिए, मौके भी देखे, लेकिन सब ठंडे बस्ते में समा गई। कोई भी कार्रवाई नहीं होने से करोड़ों की जमीनें खुर्द-बुर्द हो रही है और करोड़ों का चूना सरकार को खुलेआम लग रहा है। पता नहीं कब और कौन इनकी सुध लेगा?
