प्रेक्षायोग शिविर के सातवें दिन बताई प्राणायाम से रोगों के इलाज की विधि
Ladnun Hindi news (डा. वीरेन्द्र भाटी मंगल)। स्थानीय अणुव्रत समिति ( Anuvrat samiti ladnun ) के तत्वावधान में संचालित 15 दिवसीय प्रेक्षाध्यान योग शिविर के सातवें दिन प्राणायाम का अभ्यास करवाते हुए योगाचार्य डाॅ. अशोक भास्कर ने बताया कि प्राणायम द्वारा हमने आक्सीजन को नैनो लेवल पर शरीर की तमाम प्रक्रियाओं के लिए उपयोग किया है। अगर कोई व्यक्ति आक्सीजन को एक विशेष तरीके से प्राणायाम द्वारा ग्रहण करता है, तो उससे कई गंभीर बीमारियों हृदय रोग, एंजाइना, गठिया आदि को समाप्त किया जा हो सकता हैं। उन्होंने बताया कि पांच तत्वों में से एक तत्व प्राण भी है, जो सर्वत्र विद्यमान है। वैज्ञानिकों ने अब तक आक्सीजन का प्रयोग किया है, लेकिन अब वे दिन दूर नहीं कि समस्त रोगों के उपचार के लिए प्राणतत्व का उपयोग होगा।
डाॅ. भास्कर ने कहा कि शरीर की उत्पति में मूल तत्व शुक्र-रज में आक्सीजन एक प्रमुख तत्व है, पांच भूतों व सप्त धातुओं से बने देह में जीवन्तता चैतन्य केवल आक्सीजन से आती है। शरीर की सबसे छोटी इकाई कोशिका का न्युक्लिअस जो कोशिका का दिमाग होता है तथा माईटोकोन्ड्रिया इन दोनों में गति एवं शक्ति का कारण आक्सीजन ही है। उन्होंने कहा कि शारीरिक श्रम का अभाव, तनाव, अनियमित दिनचर्या व असंयमित जीवन के कारण आज व्यक्ति के भीतर अनेक रोग जन्म ले रहे हैं। इसलिए व्यक्ति को आसन व प्राणायाम अवश्य करने चाहिएं, ताकि उनका शरीर ठीक रह सके। इस अवसर पर समिति के अध्यक्ष शांतिलाल बैद, उपाध्यक्ष अब्दुल हमीद मोयल, मंत्री डॉ. वीरेन्द्र भाटी मंगल, रामनिवास पटेल, लूणकरण शर्मा, मुकुल आकाश, शिविर प्रभारी अंजना शर्मा, कंचन चोरड़िया, अंजू जैन, सुनीता वर्मा, डा. मनीषा जैन सहित अनेक लोग उपस्थित रहे। योगाभ्यास के पश्चात् सभी शिविरार्थियो को केले का सेवन करवाया गया।