‘बात-बात में बात बनाना, उनके बस की बात नहीं है- घर के लोगों को समझाना उनके बस की बात नहीं है’ जैविभा विश्वविद्यालय में कवि सम्मेलन में कवियों ने हंसाया, गुदगुदाया, वीर रस से किया ओतप्रोत, खूब लूटी तालियों की गड़गड़ाहट

SHARE:

[responsivevoice_button voice="Hindi Female"]

‘बात-बात में बात बनाना, उनके बस की बात नहीं है- घर के लोगों को समझाना उनके बस की बात नहीं है’

जैविभा विश्वविद्यालय में कवि सम्मेलन में कवियों ने हंसाया, गुदगुदाया, वीर रस से किया ओतप्रोत, खूब लूटी तालियों की गड़गड़ाहट

लाडनूं (kalamkala.in)। विश्व कविता दिवस के अवसर जैन विश्वभारती संस्थान विश्वविद्यालय में कवि सम्मेलन का आयोजन किया गया। कुलपति प्रो. बच्छराज दूगड़ की अध्यक्षता में यहां सेमिनार हॉल में हुए इस कवि सम्मेलन में हास्य रस और वीर रस के प्रख्यात कवियों ने अपनी प्रस्तुतियां देकर लोगों को खूब हंसाया और राष्ट्र प्रेम की ऊर्जा से ओतप्रोत कर दिया। पूरा हॉल बार-बार तालियों की गड़गड़ाहट और वाह-वाही से गूंज उठा। सम्मेलन में कवि महेश दुबे ने ‘दूध को दूध कह दूं, पानी को पानी कह दूं; जरा तो साथ दो दुनिया की हकीकत कह दूं’ सुना कर खूब वाहवाही लूटी। उनकी हास्य कविता ‘यह ट्रक का सामान है, रिक्शे में हरगिज आ नहीं सकता’ सुनाई तो सभी लोटपोट हो गए। वीर रस के कवि डा. योगेन्द्र शर्मा ने अपनी कुछ कविताओं के साथ महत्वपूर्ण रचना परमवीर चक्र विजेेता शहीद मनोज पांडे की बाॅडी घर आने पर उसके पिकता व माता की भावनाओं का चित्रण करके अनेक दर्शकों की आंखों को नम कर दिया। सम्मेलन के संयोजक राजेश चेतन ने राजनीति, आतंकवाद, देशभक्ति आदि पर दिल को छू लेने वाली कविताएं प्रस्तुत की। उन्होंने अपने हास्य अंदाज में कहा, ‘बात-बात में बात बनाना उनके बस की बात नहं है, घर के लोगों को समझाना उनके बस की बात नहीं है।’ इसी के साथ उन्होंने राजनेताओं पर भी गहरे कटाक्ष किए। अपनी कविता में वे आगे कहते हैं, ‘राहुल बाबा चुपके-चुपके बैंगकाॅक पर घूम आए, पर दुल्हन के घर तक जाना उनके बस की बात नहीं है।’ कवि सम्मेलन के मुख्य अतिथि प्रो. नरेश दाधीच ने संत बुल्लेशाह से सम्बंधित रचना प्रस्तुत करते हुए बताया कि पाकिस्तान में आ चुके लाहौर और कसार शहर भगवान राम के पुत्रों लव ओर कुश के बसाए हुए हैं, यहीं पर बुल्लेशाह की मजार है। उन्होंने अपनी रचना में कहा, ‘खड़े रहें चुपचाप जो राहें, दर्द सभी का जो सहते हैं। उनको यारों क्या कहते हैं, उनको बुल्लेशाह कहते हैं। ’सुनाकर सबकी प्रशंसा प्राप्त की। सम्मेलन में सभी कवियों का कुलपति प्रो. बच्छराज दूगड़ ने सम्मान किया। कवि सम्मेलन में विश्वविद्यालय का समस्त शैक्षणिक व गैर शैक्षणिक स्टाफ मौजूद रहा।

kalamkala
Author: kalamkala

Leave a Comment

सबसे ज्यादा पड़ गई

अवैध खनन के विरुद्ध चार विभागों और उपखंड प्रशासन की संयुक्त कार्रवाई, 1.27 लाख की वसूली और दो डम्पर जब्त, लाडनूं के लोढ़सर, तंवरा, दुजार, निम्बी जोधां व जसवन्तगढ़ क्षेत्रों में की गई अवैध खनन, निर्गमन, भंडारण को लेकर कार्रवाई 

फायरिंग का मुख्य आरोपी लाडनूं आते हुए हुआ गिरफ्तार, उसके कब्जे से 12 बोर पम्प एक्शन बंदूक और 19 जिंदा कारतूस बरामद, सुजानगढ़ के बीआरडी होटल में की थी फायरिंग, पुलिस ने गिरफ्तारी के बाद सुजानगढ़ शहर में करवाई आरोपी की परेड

बड़ी संख्या में मिलकर घर आकर हमला करने वाले आरोपियों में से 4 फिर गिरफ्तार, 7 को पहले ही किया जा चुका गिरफ्तार, साढ़े चार माह पहले बड़ा बास के शौकत खां मूनखानी के घर किया था हमला, इमरान को तलवार, बरछी व सरियों के हमले में लगी थी 18 चोटें

Advertisements
Advertisements
Advertisements